ये भीड़ क्यों खड़ी है ?
सड़क पर लाश क्यों पड़ी है ?
कहीं हाथ में पत्थर
सामने जवान
कहीं लाठी-डंडे, लात-घूंसे
मजहबी खींचतान
लोकतंत्र है या उन्माद तंत्र ?
जुबान पर ये बात क्यों जमी है ?
गुस्सा ऐसा उबल रहा है
बच्चों का भी खून खौल रहा है
नफरत,शक और अफवाह ने बदल ली शक्ल
आस्था के साथ इनका बन गया है कॉकटेल
ये हिंदुस्तान है या उधम का स्थान ?
ये बहस आज क्यों छिड़ गई है ?
सियासत अपनी सुर खो रहा
संसद भी ये सब देख रहा
फीकी पड़ रही हर तबके की चमक
जाने ये किस दौर की है धमक ?
ये भीड़ क्यों खड़ी है ?
सड़क पर लाश क्यों पड़ी है ?
- निशांत कुमार
सड़क पर लाश क्यों पड़ी है ?
कहीं हाथ में पत्थर
सामने जवान
कहीं लाठी-डंडे, लात-घूंसे
मजहबी खींचतान
लोकतंत्र है या उन्माद तंत्र ?
जुबान पर ये बात क्यों जमी है ?
गुस्सा ऐसा उबल रहा है
बच्चों का भी खून खौल रहा है
नफरत,शक और अफवाह ने बदल ली शक्ल
आस्था के साथ इनका बन गया है कॉकटेल
ये हिंदुस्तान है या उधम का स्थान ?
ये बहस आज क्यों छिड़ गई है ?
सियासत अपनी सुर खो रहा
संसद भी ये सब देख रहा
फीकी पड़ रही हर तबके की चमक
जाने ये किस दौर की है धमक ?
ये भीड़ क्यों खड़ी है ?
सड़क पर लाश क्यों पड़ी है ?
- निशांत कुमार
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